सोमवार, 2 जनवरी 2012

पवन ऊर्जा


पवन ऊर्जा

धरती एवं समुद्र क्षेत्र पर पवन का बहाव प्राकृतिक रूप से होता है। जब हवा का उपयोग पवन चक्की के पंखे को घुमाने में किया जाता है तब वह उससे जुड़ी धुरी को घुमाता है। पंप या जेनरेटर के माध्यम से धुरी के घूमने की यह प्रक्रिया बिजली उत्पन्न करती है। एक अनुमान के मुताबिक भारत के पास 45 हजार मेगावाट पवन ऊर्जा उत्पादन की क्षमता है। भारत के पास पवन ऊर्जा उत्पादन की स्थापित क्षमता 1870 मेगावाट है और इस मामले में उसका विश्व में पाँचवा स्थान है। भारत में पवन ऊर्जा उत्पादन के क्षेत्र में निजी क्षेत्र की हिस्सेदारी 95 प्रतिशत तक है।
लाभ
* यह पर्यावरण उन्मुखी है व
* यह स्वतंत्र रूप से पर्याप्त मात्रा में उपलब्ध है।
हानि
* अधिक निवेश की आवश्यकता होती है व
* हमेशा वायु की गति एक समान नहीं होने के कारण बिज़ली उत्पादन प्रभावित होता।

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